बांग्लादेश में गिरफ्तार पूर्व ISKCON पुजारी चिन्मय कृष्ण दास और 16 अन्य के बैंक खाते फ्रीज़: विस्तृत विवरण
बांग्लादेश वित्तीय खुफिया इकाई (BFIU) ने 17 व्यक्तियों से जुड़े बैंक खातों को 30 दिनों के लिए फ्रीज़ करने का निर्देश दिया है। इन व्यक्तियों में चिन्मय कृष्ण दास का नाम प्रमुख है, जो हाल ही में देशद्रोह के आरोप में गिरफ्तार किए गए थे। यह कदम बांग्लादेश में हिंदू अल्पसंख्यकों के बढ़ते तनाव और उनके अधिकारों की सुरक्षा को लेकर चल रहे विवादों के बीच उठाया गया है।
मुख्य घटनाएं:
- चिन्मय कृष्ण दास की गिरफ्तारी:
- चिन्मय कृष्ण दास, जो ISKCON के पूर्व सदस्य और बांग्लादेश सम्मिलित सनातनी जागरण जोटे के प्रवक्ता हैं, को ढाका के हजरत शाहजलाल अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे से गिरफ्तार किया गया।
- यह गिरफ्तारी एक देशद्रोह मामले के तहत हुई, जिसमें उन पर चटगांव में हिंदू समुदाय की एक रैली के दौरान बांग्लादेश के राष्ट्रीय ध्वज का अपमान करने का आरोप लगाया गया है।
- 19 अन्य लोगों को भी इस मामले में नामजद किया गया है।
- बैंक खातों पर रोक:
- BFIU ने चिन्मय दास सहित 17 व्यक्तियों के बैंक खातों को फ्रीज़ कर दिया है।
- बैंकों को तीन दिनों के भीतर इन खातों से जुड़े सभी लेन-देन की जानकारी देने का आदेश दिया गया है।
- अल्पसंख्यक अधिकारों पर अंतरराष्ट्रीय चिंता:
- भारत ने बांग्लादेश में हिंदू अल्पसंख्यकों पर बढ़ते हमलों और हिंसा की घटनाओं पर गहरी चिंता व्यक्त की है।
- भारत के विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने संसद में कहा कि बांग्लादेश सरकार की प्राथमिक जिम्मेदारी है कि वह अपने नागरिकों, खासकर अल्पसंख्यकों की सुरक्षा सुनिश्चित करे।
- प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को भी चिन्मय दास की गिरफ्तारी और हिंसा के मामलों में हस्तक्षेप करने की अपील की गई है।
- हाई कोर्ट का फैसला:
- बांग्लादेश हाई कोर्ट ने ISKCON पर प्रतिबंध लगाने की याचिका को खारिज कर दिया।
- अदालत ने कहा कि स्थिति सरकार के नियंत्रण में है, और न्यायपालिका को इस समय हस्तक्षेप की आवश्यकता नहीं है।
- अल्पसंख्यकों की स्थिति:
- बांग्लादेश में 1971 के मुक्ति संग्राम के समय हिंदू समुदाय की आबादी लगभग 22% थी, जो अब घटकर केवल 8% रह गई है।
- हिंदू समुदाय के सदस्यों ने विभिन्न स्थानों पर भेदभाव और हिंसा की शिकायतें की हैं।
चिन्मय कृष्ण दास की गिरफ्तारी के बाद बढ़ा तनाव:
चिन्मय दास की गिरफ्तारी के बाद हिंदू समुदाय के लोगों ने प्रदर्शन किया, जिससे हिंसा भड़क उठी।
- चटगांव में हुई हिंसा में एक वकील की हत्या हो गई।
- इस घटना के बाद बांग्लादेश में ISKCON पर प्रतिबंध लगाने की मांग भी उठी, लेकिन अदालत ने इसे खारिज कर दिया।
- ISKCON ने इन आरोपों को “झूठा और बदनाम करने की साजिश” बताया।
भारत का दृष्टिकोण:
भारत ने बांग्लादेश सरकार से यह सुनिश्चित करने को कहा कि अल्पसंख्यकों की सुरक्षा और उनके पूजा स्थलों की रक्षा की जाए।
- यह घटना इस बात को रेखांकित करती है कि हिंदू अल्पसंख्यक समुदाय को बांग्लादेश में लगातार चुनौतियों का सामना करना पड़ता है।
- भारतीय अधिकारियों ने इन मामलों को लेकर गंभीर चिंता जताई है।