पूर्व मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने कहा कि पुरोला समेत कई स्थानों पर हुई घटनाओं का चरित्र एक जैसा है। ऐसी घटनाओं से कटुता बढ़ती है। कानून और सरकार अपना काम कर रही है। लेकिन मैं मौलवियों और मदरसा संचालकों से कहना चाहता हूं कि वह बच्चों को अच्छे संस्कार दें। बच्चों को समझाएं। जितने भी प्रकरण हुए हैं, उनमें जो बालिकाएं हैं वह नाबालिग हैं और लड़के बड़ी उम्र के हैं।

इसलिए जो अपने आप को धर्म गुरु और शिक्षक कहते हैं उन्हें बच्चों को समझाना चाहिए। ये बातें त्रिवेंद्र सिंह रावत ने शनिवार को डामकोठी में पत्रकारों से वार्ता के दौरान कहीं। त्रिवेंद्र ने कहा कि जो लोग उत्तराखंड आने की धमकी दे रहे हैं, वह उत्तराखंड तब आएंगे, जब उनको यहां आने दिया जाएगा। उत्तराखंड राज्य ने कभी भी धमकियां बर्दाश्त नहीं की हैं।
जो धमकियां दे रहे हैं, वह उत्तराखंड में कटुता बढ़ाना चाहते हैं। मेरा कहना है कि वह संभल कर बोलें। उन्होंने कहा कि पुरोला की घटना के दौरान समाज ने जिस जागरूकता का परिचय दिया है उसे धमकी देने वालों को समझना चाहिए। लोकसभा चुनाव के लिए टिकट की दावेदारी को लेकर पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि भाजपा कार्यकर्ताओं से विचार-विमर्श के बाद टिकट का बंटवारा करती है।
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