उत्तराखंड के 382 लोगों को इनकम टैक्स का नोटिस भेजा गया है। इन पर विभिन्न स्रोतों से हुई मोटी आय इनकम टैक्स से छिपाने का आरोप है। अगर इन्होंने जल्द ही ई वेरिफिकेशन कर सही इनकम टैक्स रिटर्न नहीं भरा और आय छिपाने का स्पष्टीकरण न दिया तो इनके खिलाफ वसूली और मुकदमे की कार्रवाई भी हो सकती है।
इनकम टैक्स आसूचना एवं आपराधिक जांच अधिकारी कमल सिंह ने बताया कि उनको विभिन्न विभागों से लोगों की आय की सूचनाएं हर साल मिलती हैं। इसके आधार पर उनके इनकम टैक्स रिटर्न से मिलान के बाद साफ्टवेयर की मदद से ये पता चल जाता है कि उन लोगों ने अपनी इस आय का टैक्स भरा कि नहीं।
जिन लोगों की ये डिटेल मिसमैच होती है उनको स्वत ही साफ्टवेयर की मदद से उनके मेल पर नोटिस चला जाता है। ऐसे 382 लोगों को पूरे प्रदेश में नोटिस भेजे गए हैं, जिनको उसका ऑनलाइन जवाब देकर ई-सत्यापन कराना होगा। ऐसा ना करने पर उनके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।
ये हैं मुख्य आय के स्रोत इन लोगों ने जिन स्रोतों से हुई आय छिपाई है उनसे सबसे ज्यादा प्रॉपर्टी बेचने से हुई आय है। इसके अलावा शेयर के दाम बढ़ने से, बैंक में रखे पैसों के ब्याज से या म्यूचअल फंड आदि स्रोतों से हुई इनकम को भी लोगों ने छिपाया है। जबकि इस इनकम पर भी टैक्स अपनी रेगुलर इनकम की तरह लोगों को देना चाहिए था।
निदेशक बोले, ई-पोर्टल पर ही करें ई- सत्यापन
आयकर निदेशक आसूचना व आपराधिक अन्वेषण शुमाना सेन ने बताया कि जिन लोगों की इनकम में मिसमैच है, उनको पहले नोटिस भेजा जाता है। जवाब न हीं आने पर टैक्स इंस्पेक्टर घर जाकर इसकी जानकारी देते हैं। जिनको नोटिस गए हैं वे https// eportal. incometax. gov. in ´FSX BÊ सत्यापन करा लें।